उत्तर प्रदेश के कानपुर में सोमवार को घंटाघर चौराहा के पास स्मार्ट शेल्टर होम स्थापित किया गया। जरूरत पड़ने पर इसे दूसरे स्थान पर भी शिफ्ट किया जा सकता है। इस शेल्टर होम में एक बार में 24 लोग रुक सकेंगे। निराश्रित लोगों के रुकने के लिए तैयार यह उत्तर प्रदेश का पहला स्मार्ट शेल्टर होम है। कमिश्नर डा. राज शेखर ने आज इसका शुभारंभ किया।
एक शेल्टर होम बनाने में आया इतने रुपये का खर्च
यह प्रदेश का पहला मोबाइल यूनिट शेल्टर होम है. इसे इंदौर मॉडल के आधार पर तैयार किया गया है. यह शेल्टर होम ट्रेन की बोगीनुमा है. जानकारी के मुताबिक, एक स्मार्ट शेल्टर होम को बनाने में 10 लाख रुपये का खर्च आया है. इसका बाहरी आवरण लोहे से बना है. वहीं अंदर पीवीसी का प्रयोग किया गया है. इसे खास तरीके से डिजाइन किया गया है. जिसके चलते यहां रहने वालों को न तो ज्यादा गर्मी लगेगी और न ही ज्यादा ठंड. इसमें एलईडी लाइट्स लगाई गई हैं. इसके साथ ही हर बेड के पास चार्जिंग पोर्ट भी दिया गया है, जिसमें लोग मोबाइन फोन वगैरह भी चार्ज कर सकेंगे।
मंडलायुक्त राजशेखर ने किया उद्घाटन
इस स्मार्ट शेल्टर होम का उद्घाटन मंडलायुक्त राजशेखर ने किया. उन्होंने बताया कि यह एक मोबाइल यूनिट है. इसे कहीं भी कैरी किया जा सकता है. हम अन्य औद्योगिक इकाइयों से बात कर इस तरीके के और अधिक शेल्टर होम स्थापित करने का प्रयास करेंगे।
बता दें कि बीते दिन उत्तर प्रदेश में कानपुर सबसे ठंडा स्थान रहा. बीते दिन यहां 22 साल का रिकॉर्ड टूट गया. मंगलवार को यहां का न्यूनतम तापमान 2 डिग्री दर्ज हुआ।
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